30 March 2011

SAY SORRY...




बॉलीवुड अभिनेता शाहरुख खान का सलमान खान और फराह खान से मतभेद जगजाहिर है। पिछले दिनों एक शो पर उन्होंने इस बात को कुबूल किया कि वो अपने दोस्तों से अपनी गलतियों के लिए सॉरी बोल पाने में असमर्थ रहे, इसी कारण उन्होंने अपने करीबी दोस्तों को खो दिया।

गलती करना तो इंसान का स्वभाव होता है लेकिन गलती मानना हर इंसान का स्वभाव नहीं होता।

कई बार दो अक्षरों का लफ्ज सॉरी बोलना बेहद मुश्किल हो जाता है। हम सब जानते हैं कि अगर सही तरह से सॉरी बोला जाए तो बडी से बडी गलती की भी माफी मिल सकती है।

माफी मांगने का तरीका काफी हद तक हमारे मनोविज्ञान से जुडा होता है।

I think :

" इंसानी फितरत में अहंकार अहम भूमिका अदा करता है। ऐसे में कई बार इंसान चाह कर भी सॉरी नहीं बोल पाता। कई बार ज्यादा करीबी रिश्तों में फॉर ग्रांटेड लेने की वजह से भी सॉरी बोल पाना जरा मुश्किल सा लगता है। लेकिन अगर आपको समय पर अपनी गलती का अहसास हो जाए तो संबंध खराब होने से बच जाते हैं।

गलती का अहसास होने के साथ गलती की माफी मांगना भी उतना ही जरूरी है।

माफी मांगने का सही तरीका भी यहां बहुत अहमियत रखता है। सही तरीका यानी सामने वाले को यह पता चल जाना चाहिए कि आपको वाकई अपनी गलती पर अफसोस है।

माफी मांगना तब तक कारगर नहीं होता जब तक आप खुद से यह प्रण न कर लें कि दोबारा आप वही गलती नहीं करेंगे। डॉ. विचित्रा कहती हैं, फिल्म चक दे में एक सीन था जब एक हॉकी प्लेयर दूसरी को सॉरी बोलती है। एक बार में जवाब न देने पर वह कहती है.. सॉरी देती है कि नहीं, वरना दूं एक रख के..।

माफी मांगने का यह तरीका उपयुक्त नहीं है। अगर सही तरीके से माफी मांगी जाए तो बात आसानी से बन जाती है।

कई बार बात खत्म करने के लिए एक पक्ष का माफी मांगना अच्छा रहता है।

माफी मांगने से कोई छोटा-बडा नहीं होता। इसमें ईगो की भी बात नहीं होती। बस इस जरा से लफ्ज से कोई भी मसला आसानी से सुलझ जाता है। हां, इसे बोल पाना जरा मुश्किल जरूर होता है लेकिन यह काफी असरदार चीज है।

मसलन शाहरुख को ही ले लीजिए। अगर यह सॉरी जो उन्होंने शो पर बोला अपने दोस्तों के सामने बोल सकते तो शायद उनके करीबी लोग उनके साथ होते।

कई कपल्स आते हैं जिनमें सिर्फ यही प्रॉब्लम होती है कि वो एक-दूसरे से मौके पर सॉरी नहीं बोल पाते।

अगर समय रहते छोटी-सी बात को छोटे से सॉरी के साथ निबटा लिया जाए तो बातों का ढेर नहीं लगता और रिश्ते आसानी से चलते रहते हैं।


यानी अगर एक लफ्ज से टूटे हुए दिल जुड सकते हैं.....


तो इसका प्रयोग करने में संकोच कैसा !!!!!!???????



DILSHAD SAIFI

+91-9015563789


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